नई दिल्ली | कनाडा सरकार ने 2025 के लिए अंतरराष्ट्रीय छात्रों के स्टडी वीज़ा नियमों में अहम बदलाव किए हैं, जिनका सीधा असर भारतीय छात्रों पर पड़ने की संभावना है। इन नए नियमों से जहां छात्रों की तैयारी और खर्च दोनों बढ़ सकते हैं, वहीं वीज़ा प्रक्रिया और भी अधिक जटिल हो गई है।
स्टडी परमिट की संख्या में कटौती
कनाडा ने 2025 के लिए स्टडी परमिट की कुल संख्या को 10% घटा दिया है। अब केवल 4,37,000 स्टडी परमिट जारी किए जाएंगे, जो 2024 की तुलना में कम हैं। साथ ही अब अधिकतर आवेदकों को प्रांतीय या क्षेत्रीय प्रमाणपत्र (देना अनिवार्य होगा, ताकि यह तय किया जा सके कि वे आवंटित सीमा के भीतर आते हैं।
वित्तीय ज़रूरतें हुईं कड़ी
सरकार ने छात्रों के वित्तीय प्रमाणन को भी पहले से अधिक सख्त कर दिया है। अब स्टडी वीज़ा के लिए छात्रों को CAD 20,635 (करीब ₹12-13 लाख रुपये) की गारंटीड इन्वेस्टमेंट सर्टिफिकेट (GIC) दिखानी होगी, जो पहले के CAD 10,000 की तुलना में दोगुनी है।
स्कूल बदलने के लिए नया स्टडी परमिट अनिवार्य
एक और बड़ा बदलाव यह है कि अब अधिकांश अंतरराष्ट्रीय छात्रों को स्कूल बदलने पर नया स्टडी परमिट प्राप्त करना होगा। यह नियम छात्रों की अकादमिक योजना और संस्थान बदलने की प्रक्रिया को और जटिल बना सकता है।
वीज़ा प्रोसेसिंग समय
फिलहाल भारतीय छात्रों के लिए कनाडा का वीज़ा प्रोसेसिंग समय लगभग 8 सप्ताह का है। ऐसे में समय पर आवेदन और सभी दस्तावेज़ों की तैयारी पहले से करना आवश्यक है।
भारतीय छात्रों के लिए सुझाव
- वित्तीय दस्तावेज़ों को पहले से तैयार रखें।
- PAL/TAL प्रक्रिया को समझें और समय पर उसके लिए आवेदन करें।
- यदि संस्थान बदलने की योजना हो तो पहले से नया स्टडी परमिट प्राप्त करें।
- आवेदन प्रक्रिया में किसी भी देरी से बचने के लिए समय पर सभी दस्तावेज़ जमा करें।
इन बदलावों के चलते कनाडा में उच्च शिक्षा की योजना बना रहे भारतीय छात्रों को अब पहले से अधिक सतर्क, संगठित और वित्तीय रूप से तैयार रहना होगा।